गायों को ठंड से बचाने के लिए गौशाला को तिरपाल से ढक कर रखें: जिला अधिकारी

AMROHA NEWS: जिलाधिकारी बालकृष्ण त्रिपाठी द्वारा तहसील हसनपुर स्थित वीजलपुर गौशला का निरीक्षण किया गया। इस अवसर पर जिलाधिकारी ने खली, चौकर व भूसा की उपलब्धता, गायों को काऊ कोट की व्यवस्था तथा ठंड के दृष्टिगत गौशाला को चारों ओर से ढकने की तिरपाल की व्यवस्था सहित विभिन्न बिंदुओं पर निरीक्षण किया। कमजोर पशु देखकर जिलाधिकारी भड़क गए और गौशाला संरक्षक को बुलाकर कड़ी फटकार लगाते हुए कठिन कार्रवाई करने की हिदायत दी। उन्होंने कहा कि जो पशु कमजोर हैं उन्हें अलग रखकर विशेष व्यवस्था के तहत पोषण युक्त चारा उपलब्ध कराया जाए।

बेहतर तरीके से स्वास्थ्य चिकित्सा का लाभ दें

गौशाला में भूसा के साथ-साथ पशुओं को हरा चारा और खली व चोकर मिला कर दिया जाना चाहिए। निरीक्षण में केवल भूसा मिलने पर जिलाधिकारी ने कड़ी नाराजगी व्यक्त की। उन्होंने संबंधित पशु चिकित्सक को निर्देश देते हुए कहा कि बीमार पशुओं का इलाज प्राथमिकता के साथ किया जाना चाहिए। पशुशाला में कोई भी पशु बीमार नहीं रहना चाहिए। पशुओं को बेहतर तरीके से स्वास्थ्य चिकित्सा का लाभ दें। गौशाला में किसी भी प्रकार की अव्यवस्था नहीं होनी चाहिए। ठंड के दृष्टिगत पशुओं की विशेष देखभाल की जाए। कोई भी पशु ठंड के अभाव में मरना नहीं चाहिए। प्रत्येक पशु को काऊ कोट की उपलब्धता हो। पूरे गौशाला को तिरपाल से ढक कर रखा जाए ताकि ठंडी हवा गौशाला में प्रवेश न कर सके और गायें आराम से रह सके। खली, भूसा व चोकर की उपलब्धता पर्याप्त होनी चाहिए। निरीक्षण में गौशाला में 59 पशु संरक्षित पाए गए।

गांव में कोई पशु ने छोड़े, ग्राम प्रधान की होगी जिम्मेदारी

जिलाधिकारी ने उप जिलाधिकारी कार्यालय हसनपुर में सोहरका व दीपपुर के ग्राम प्रधान को बुलाकर उप जिला अधिकारी हसनपुर, क्षेत्राधिकारी हसनपुर, अधिशासी अधिकारी हसनपुर अन्य संबंधित अधिकारियों की उपस्थित में छुट्टा पशुओं के संबंध में नाराजगी व्यक्त करते हुए कहा कि यदि कोई भी किसान अपना पशु छोड़ता है तो यह आपकी जिम्मेदारी होगी। अपनी उपस्थिति में चिन्हाकन करा कर जिन किसानों द्वारा छुट्टा पशु छोड़े गए हैं, उन्हें शीघ्र ही उनके पास लौटाया जाए। अन्यथा जिन किसानों द्वारा पशुओं को छुट्टा किया गया है।

उन पर मुकदमा दर्ज करने के साथ-साथ आप पर मुकदमा दर्ज कर आपके ग्राम प्रधान खाते सीज कर दिया जाएगा।

निर्देश देते हुए कहा कि यदि कोई भी किसान टैगिंग वाले पशुओं को हटाता है

तो पशु क्रूरता अधिनियम के तहत गंभीर धाराओं में मुकदमा दर्ज किया जाएगा।

अधिशासी अधिकारी व सहायक विकास अधिकारी को निर्देश देते हुए कहा कि

ग्राम प्रधान से मिलकर जिन किसानों द्वारा अपने पशु छुट्टा किए गए हैं।

उनको उस किसान को चिन्हित कर पशु वापस भेजा जाए।

किसान द्वारा यदि लेने से इंकार किया जाता है तो तत्काल संबंधित थाने में गंभीर धाराओं में मुकदमा दर्ज कराया जाए।

किसानों को नोटिस दिया जाए। चिन्हित कर किसानों को छोड़े गए पशु लौटाएं जाए,

यदि ग्राम प्रधान द्वारा इसमें सहयोग नहीं किया जाता या ध्यान नहीं दिया जाता

और अपने दायित्वों का निर्वहन नहीं किया जाता है

तो उनके अधिकार सीज करने और मुकदमा दर्ज करने के लिए प्रस्ताव तैयार किया जाए।

Leave a Comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *